आतिशबाजी की चिंगारी से भानुप्रतापपुर कृषि मंडी में लगी भीषण आग
कांकेर। बड़ी खबर भानुप्रतापपुर से आ रही है। जहां बुधवार की शाम को 5 बजे दुर्गा विसर्जन के दौरान की गई आतिशबाजी से आग लग गई। आतिशबाजी की चिंगारी अचानक जाकर बोरियों के ढेर पर गिरी और देखते ही देखते आग ने विकराल रूप ले लिया। इसमें 2 लाख बोरियों के जलने की बात कही जा रही है। इस जले पर खाज ये कि फॉयर ब्रिगेड की गाड़ियां तक मौके पर नहीं आईं।
नहीं आई फॉयर ब्रिगेड की गाड़ी, पड़ोसी का बोर भी नहीं बुझा पाया आग
बड़ी बात यह रही कि नगर पंचायत में फायर ब्रिगेड की गाड़ी खराब होने से कारण नहीं पहुंच पाई। नगर पंचायत द्वारा औपचारिकता निभाने के लिए पानी टैंकर भेज दिया गया, जिसमें बुझाने की कोई व्यवस्था नहीं थी। पड़ोस के घर से बोर पानी की सप्लाई से कुछ बचाने का प्रयास किया गया, लेकिन आग पर काबू नहीं पाया जा सका। नगर में कहीं अचानक आग लग जाए तो नगर पंचायत की फायर ब्रिगेड आएगी यह सोचना बेमानी है, क्योंकि आए दिन इस प्रकार के मामले सामने आते हैं। कभी भी नगर पंचायत का फायर ब्रिगेड घटना स्थल पर नहीं पहुंच पाता है।
7 लाख खर्च कर कराई मरम्मत फिर से हुई फेल
नगर पंचायत द्वारा हाल ही में 7 लाख की लागत से फायर ब्रिगेड की मरम्मत कराई थी। इसके बाद फिर से खराब होने से दोबारा मरम्मत कराया था। अब फिर से बिगड़ गया है। आखिर फायर ब्रिगेड कब बनेगा और लोगों केा कब काम आएगा इसका जवाब किसी के पास नहीं है।
क्या कहते हैं सीएमओ
सीएमओ हेमंत नेताम ने बताया फायर ब्रिगेड खराब हो गई है। इसके चलते जहां आग लगी वहां भेज नहीं पाए हैं। पानी टैंकर भेज दिया गया है, इसे बुझाने का प्रयास किया जा रहा है। फायर ब्रिगेड जल्द बनाया जाएगा। फायर ब्रिगेड की गाड़ी है खराब इसलिए नहीं पहुंची ।
क्या कहते हैं मंडी के प्रभारी
कृषि मंडी भानुप्रतापपुर के प्रभारी खरे ने बताया मुझे जानकारी मिलेगी की दुर्गा विसर्जन के दौरान पटाखे की चिंगारी से यह आग लगी है। फायर ब्रिगेड की सूचना दी गई, लेकिन मौके पर नहीं पहुंच पाया, पानी टैंकर आया है। बगल वाले घर से बोर के माध्यम से बुझाने का प्रयास किया गया। लगभग डेढ़ से 2 लाख अनुपयोगी प्लास्टिक धान की बोरियां रखी गई थी, जो पुरानी थीं। वे ही जल कर नष्ट हो गईं।
सवाल तो ये है कि अगर इतनी बड़ी तादाद में बोरियां रखी थीं तो उनकी सुरक्षा क्यों नहीं की गई ? उनकी सुरक्षा की जिम्मेदारी किसकी थी ? इससे हुए नुकसान का अंदाजा कौन लगाएगा ? क्या इस हादसे के लिए जिम्मेदारों पर प्रशासन कोई कार्यवाही करेगा ? ये सब ऐसे सवाल हैं जिनका जवाब खोजा जाना बाकी है।